तुझे मैं चाँद ला दूँगा ।
जरूरत हो बता देना तुझे मैं चाँद ला दूँगा ।
तेरी इक मुस्कुराहट पर बहारें मैं लुटा दूँगा ।
कभी कोई परेशानी तुझे छूने न पाएगी,
तेरे कदमों में दुनिया की सभी चीज़ें बिछा दूँगा ।
तुझे जब देखता हूँ मैं नहीं फ़िर होश रहता है,
मिले जो तू अकेली तो तुझे मैं दिल दिखा दूंगा ।
तेरी साँसों से महकेगी कभी बगिया मेरे तन की,
रहे जिसमें ख़ुशी से तू महल ऐसा बना दूँगा ।
मुझे पूरा भरोसा है ख़ुदा जोड़ी बनाता है,
दुआ होगी जहाँ पूरी वहीं मैं सर झुका दूँगा ।
बनेगी तू मेरी दुल्हन नज़ारा क्या गज़ब होगा ।
तेरी मैं मांग सिंदूरी सितारों से सजा दूँगा ।
करूँगा वो कभी भी जो किसी ने ना किया होगा,
मुहब्बत का नशा ऐसा तुझे भी मैं पिला दूँगा ।
अवधेश-05042020
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